corona in third stage India shut down
करोना के चरण कया है।
good morning
दोस्तों
एक नई सुबह और बहुत सारी मौत की खबर ,करोना करोना ब्रेकडाउन और लोक डाऊन। यही खबरें सुबह उठते साथ ही हम सुन रहे हैं ।बहुत सारी और झूठी पोस्ट हम को गुमराह कर रहे हैं। कहीं लोग जरूर से ज्यादा उत्तेजित हो रहे हैं ,कहीं लोग डर रहे हैं ।तो कहीं लोग मजाक समझ कर छोड़ रहे हैं। वह लोग Lockdown mein ghoom rahe hain, वह लोग lockdown में घूम रहे हैं ,छुट्टियां मना रहे हैं ।
जबकि दोस्तों यह एक संकट है। जो केवल हमारे हमारे पड़ोस तक सीमित नहीं है ।बल्कि पूरी दुनिया तक सीमित है। हमारा देश इस संकट से बहुत अच्छी तरह निपट रहा है। अमेरिका, इटली और इरान को देखने के बाद हमें लगता है ।हमारी सरकार बहुत अच्छा काम कर रही हैं।
लेकिन दोस्तों कि हम अच्छा काम कर रहे हैं। आप लोग जो लोग समाज के अंदर अच्छा दर्जा रखते हैं। क्या वह इसके लिए कुछ काम कर रहे हैं? हमें केवल लोगों को समझाना चाहिए। लाक डाउन पर अमल करें। घर में रहे और सफाई का ध्यान रखें ।
दोस्तों अभी आप लोग पढ़ रहे होंगे कि करोना, भारत में तीसरे चरण पर पहुंच गया है। इसका क्या मतलब है ।।
आइए मैं आपको इसके बारे में समझाता हूं
- पहला चरण वह चरण था जब विदेशों से आए हुए लोग करोना के वायरस को भारत में लेकर आए थे। उस समय केवल विदेश से आए हुए लोग करोना से इनफेक्टेड थे ।उस समय किसी भी भारतीयों को जो भारत के अंदर ही रह रहा था, इंफेक्शन नहीं था ।इसे हमने पहली स्टेज या पहला चरण माना था।
- दूसरी स्टेज या दूसरा चरण वह चरण होता है। जहां पर विदेशी लोगों से आए हुए या विदेश से आए हुए भारतीय इंफेक्शन को भारतीयों मे फैलाया जाता है। जो लोग भारत में रह रहे हैं ,उनके शरीर में इंफेक्शन का प्रवेश होना और यह भारत में फैलना शुरु जाता है ।यानी टाइम बम की टिक टिक शुरू हो चुकी है।
- तीसरा चरण स्टेज को कहा जाता है। जब वायरस का संक्रमण या इन्फेक्शन भारत में रहने वाले लोगों से भारत के लोगों को लगना शुरू हो जाता है। इस तरह यह इन्फेक्शन भारत के दूरदराज इलाकों में भी पहुंच जाता है। गांव ,शहर उसकी चपेट में आ जाते हैं ।इसे खतरनाक स्थिति माना जाता है ।यह चरण इस समय भारत में चरम सीमा पर है ।
आपने समझा बीमारी की मैनेजमेंट क्या होती है। करोना भारत में तीसरे चरम पर है ।चौथे चरण पर आने के लिए हमे रोकना होगा। करोना वायरस सबसे ज्यादा फैलने का कारण थूक से निकले या मुंह से निकले ड्रॉपलेट्स या छोटी-छोटी पानी की बूंदे। जो 2 मीटर तक फैल जाते हैं और हमारे आसपास जगहों को वायरस से infected कर देती है ।यह वायरस आसपास लोहे लकड़ी और कागज इत्यादि पर कई देर तक जिंदा रहता है ।कई बार यदि धूप ना होvirus कई घंटों तक जिंदा रहता है ।यदि कोई व्यक्ति उस जगह को हाथ लगाएगा और हाथ नहीं होता तो यह वायरस उसके शरीर में प्रवेश कर सकता है। हाथ धोने के लिए हमें सैनिटाइजर, हैंड वॉश या फिर साबुन का परयोग करके, हाथ को अच्छी तरह से 2 मिनट तक होना चाहिए और खूब पानी से हाथ को साफ करना चाहिए। हाथ को पौछने के लिए किसी तरह का कोई गंदा कपड़ा प्रयोग ना करें ।कपड़ों को धोने के लिए नीम या डिटोल के पानी का प्रयोग करें ।जिससे किटाणु मर जाएं ,यह वायरस की मेंब्रेन भी डैमेज करती है, जिससे वायरस भी मर जाते हैं ।लेकिन तेज धूप मैं कई घंटे मैं प्रोसेस कंप्लीट होता है। वायरस 60से 65 डिग्री तक तापमान सहन कर सकते हैं ।यदि हमें पानी फिल्टर नहीं मिलता तो पानी को उबालकर प्रयोग करें ।पानी को स्टील के बर्तन नहीं या कांच के बर्तन में रखें ।आप लोग गर्म पानी का सेवन करें, अपने घर के अंदर ही रहे हैं ।लोगों से 2 मीटर की दूरी बनाकर रखें,जितना हो सके मुझे।
आशा है कि हम लोग देंगे करो ना को हरा देंगे और इस संकट की घड़ी टल जाएगी। दुनिया फिर से पहले की तरह सामान्य हो जाएगी ।
धन्यवाद।
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